NGT Tree-Cutting Notice: Faridabad में 200 पेड़ कटे, अब जवाबदेही तय
🌲 क्या हुआ है?
- Arua गांव, Faridabad में एक स्थानीय नेता ने 150–200 पेड़ काट डाले।
- किसी भी वैध फॉरेस्ट परमिशन के बिना पेड़ों की कटाई हुई।
📩 NGT ने क्यों भेजे नोटिस?
- नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल ने कई हरियाणा एजेंसियों को नोटिस भेजे।
- कारण: अवैध कटाई रोकने में लापरवाही और मिलीभगत का शक।
🧾 किन अधिकारियों पर सवाल?
- वन विभाग, जिला प्रशासन, और स्थानीय नगर निकायों को नोटिस।
- NGT ने पूछा: “किसकी अनुमति से कटाई हुई?”
🧭 क्या हैं NGT कानूनी नियम?
- किसी भी बड़े पेड़ की कटाई के लिए चाहिए:
- सरकारी अनुमति
- पर्यावरण मूल्यांकन
- स्थानीय ग्राम पंचायत की सहमति
❗ जनता और पर्यावरण को कैसे नुकसान NGT?
- हरियाणा पहले से ही ग्रीन कवर में कमजोर।
- पेड़ कटने से:
- गर्मी और प्रदूषण बढ़ेगा
- वन्यजीवों का नुकसान
- बाढ़ की आशंका
🗣️ अब आगे क्या?
- यदि दोष सिद्ध हुए, तो जुर्माना, निलंबन और कानूनी कार्रवाई संभव।
- नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल अगले सुनवाई सत्र में मांगेगी जवाब।
🔚 निष्कर्ष:
Tree-Cutting Notice सिर्फ एक चेतावनी नहीं, बल्कि एक संदेश है कि अब पर्यावरण से खिलवाड़ नहीं चलेगा।
क्या दोषियों पर सख्त कार्रवाई होगी? जनता जवाब चाहती है।