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जल संकट से निपटने के लिए सामूहिक प्रयासों की जरूरत : शेखावत

एसकेएफ इंडिया जल प्रबंधन परियोजना ‘सामुदायिक संवाद’ का आयोजन

जल संकट से निपटने के लिए सामूहिक प्रयासों की जरूरत : शेखावत

जोधपुर, 14 अप्रैल (हि.स.)। एसकेएफ इंडिया जल प्रबंधन परियोजना, लूणी एवं धवा का ‘सामुदायिक संवाद’ केंद्रीय संस्कृति एवं पर्यटन मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत एवं संसदीय कार्य मंत्री जोगाराम पटेल के मुख्य आतिथ्य में ग्राम पंचायत फींच के डुंगर तालाब में आयोजित हुआ।

केन्द्रीय संस्कृति एवं पर्यटन मंत्री शेखावत के विशेष आग्रह पर सामाजिक सरोकार का दायित्व निर्वहन करते हुए अंबुजा फाउंडेशन एसकेएफ इंडिया ने जल प्रबंधन परियोजना के तहत लूणी एवं धवा क्षेत्र के विविध तालाबों और गांवों में जल को सहेजने एवं जल इकट्ठा करने के उद्देश्य से जल संरचनाओं का निर्माण कराया है। इस दौरान फींच गांव के डूंगर तालाब पर अवलोकन भी किया गया।

प्रत्येक नागरिक का कर्तव्य जल का संरक्षण करें :

गजेंद्र सिंह शेखावत ने कहा पानी संकट से निपटने के लिए सरकार, कंपनियों और समाज को मिलकर जल संरक्षण एवं संवर्धन की दिशा में काम करना होगा। उन्होंने कहा लूणी क्षेत्र के करीब 10 गांवों में जल संरक्षण के महत्वपूर्ण कार्य किए गए हैं, जिससे ग्रीष्म ऋतु में ग्रामीणों को राहत मिलेगी। देश के प्रत्येक नागरिक का कर्तव्य है कि जल की महत्ता को समझे और संरक्षण करें।

जल संरक्षण के कार्य वरदान साबित होंगे :

केंद्रीय संस्कृति एवं पर्यटन मंत्री ने कहा एसकेएफ जैसी अंतरराष्ट्रीय कंपनी का हमारे गांवों में आकर काम करना गर्व की बात है। उन्होंने तालाबों की सफाई एवं कैचमेंट विस्तार एवं टांकों का निर्माण जैसे कार्य क्षेत्रवासियों के लिए वरदान साबित होंगे।

अब तक देश में 76 फीसदी ग्रामीण घरों तक नल से जल पहुंचा :

शेखावत ने कहा कि मुख्यमंत्री जल स्वावलंबन योजना के माध्यम से हमने पूर्व में हजारों तालाबों को पुनर्जीवित किया था। दुर्भाग्यवश बीच में सरकार बदलने के कारण ये कार्य रुक गए। अब फिर से केंद्र और राज्य की डबल इंजन सरकार इन योजनाओं को तेजी से आगे बढ़ा रही है। उन्होंने कहा जल जीवन मिशन के तहत अब तक देश में 76 फीसदी ग्रामीण घरों तक नल से जल पहुंचाया जा चुका है, और शेष 24 फीसदी में से अधिकांश राजस्थान, मध्य प्रदेश और आंध्र प्रदेश में हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस मिशन को 2028 तक बढ़ाकर 78,000 करोड़ रुपये का बजट स्वीकृत किया है, जिससे शेष क्षेत्रों में भी समुचित जलापूर्ति सुनिश्चित की जाएगी।

फेज तृतीय का कार्य पूर्ण होने पर पेयजल आपूर्ति का होगा स्थाई समाधान :

संसदीय कार्य मंत्री ने कहा जल जीवन मिशन की समयावधि वर्ष 2028 तक बढ़ाई गई है और इस निर्णय से वर्ष 2028 तक प्रदेश के हर घर तक नल से जल पहुंचेगा। उन्होंने कहा लिफ्ट कैनाल फेज तृतीय का कार्य पूर्ण होने पर जोधपुर में पेयजल आपूर्ति का स्थाई समाधान सुनिश्चित होगा।

ग्रीष्म ऋतु में होगी समुचित जलापूर्ति :

पटेल ने कहा प्रदेश में ग्रीष्म ऋतु में समर कंटिंजेंसी प्लान बनाकर समुचित जलापूर्ति सुनिश्चित की जाएगी। उन्होंने कहा क्षेत्र में टैंकरों के माध्यम से जलापूर्ति की जाएगी। संसदीय कार्य मंत्री ने कहा बजट घोषणा के अनुरूप इस वर्ष दो हजार 500 हैण्डपम्प लगाये जायेंगे। उन्होंने कहा पेयजल सम्बन्धी समस्या का तत्काल निराकरण के लिए प्रत्येक जिला कलक्टर को समर कंटिंजेंसी के अन्तर्गत एक करोड़ रुपये का अनटाइड फंड भी उपलब्ध करवाया गया है।

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