हल्द्वानी, 17 जून (हि.स.)।
उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री एवं महाराष्ट्र के पूर्व राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी का जन्मदिन मंगलवार को दमुवाढूंगा स्थित आंबेडकर पार्क में सामाजिक समरसता और शिक्षा के उत्सव के रूप में उल्लासपूर्वक मनाया गया। इस अवसर को ‘समरसता दिवस’ के रूप में मनाकर समाज के लिए एक प्रेरणादायक उदाहरण प्रस्तुत किया गया।
🏆 मेधावी छात्र और सेवा निवृत्त कर्मियों का हुआ सम्मान
गंगोलीहाट के पूर्व विधायक जोगा राम टम्टा की अध्यक्षता में आयोजित कार्यक्रम में अनुसूचित वर्ग के मेधावी छात्र-छात्राओं और विभिन्न विभागों से सेवानिवृत्त कर्मियों को सम्मानित किया गया। विद्यार्थियों को शील्ड और रामायण की प्रतियां, जबकि सेवानिवृत्त कर्मचारियों को स्मृति चिह्न भेंट कर समाजहित में उनके योगदान को सराहा गया।
📜 कोश्यारी बोले – “समरसता भारतीय संस्कृति की आत्मा है”
अपने उद्बोधन में भगत सिंह कोश्यारी ने कहा:
“अगर मेरा जन्मदिन सामाजिक समरसता के रूप में मनाया जा रहा है, तो यह मेरे लिए सबसे बड़ा सम्मान है। समरसता हमारी संस्कृति की आत्मा है, जिसे हर व्यक्ति को आत्मसात करना चाहिए।”
🍛 सहभोज में दिखा सामाजिक एकता का संदेश
कार्यक्रम के बाद कोश्यारी ने स्थानीय निवासियों के साथ सहभोज कर सामाजिक समरसता और एकता का प्रतीकात्मक संदेश दिया। सभी वर्गों के लोग एक साथ भोजन करते नजर आए।
🗣️ मेयर गजराज सिंह बोले – “विविधता ही हमारी ताकत”
हल्द्वानी के मेयर गजराज सिंह ने कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा:
“समाज की असली ताकत उसकी विविधता और आपसी सौहार्द में है। इस तरह के आयोजन समाज को जोड़ने और प्रेरित करने का कार्य करते हैं।”
👥 उपस्थित गणमान्य व्यक्तियों में शामिल रहे:
- जोगा राम टम्टा (पूर्व विधायक)
- गजराज सिंह (मेयर, हल्द्वानी)
- सामाजिक कार्यकर्ता व समर्थक
- क्षेत्रीय नागरिक, विद्यार्थी, एवं सम्मानित कर्मचारी