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मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने साहिब सिंह वर्मा को श्रद्धांजलि अर्पित कर उनके योगदान को याद किया

नई दिल्ली, 15 मार्च (हि.स.)। दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता और मंत्री प्रवेश वर्मा ने शनिवार को पूर्व मुख्यमंत्री साहिब सिंह वर्मा की जयंती पर उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की। इस मौके पर मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने साहिब सिंह वर्मा के प्रति अपनी भावनाएं व्यक्त कीं और उनके योगदान को याद किया। मुख्यमंत्री ने कहा कि मैं खुद को सौभाग्यशाली मानती हूं कि मुझे उनके शुरू किए गए कार्यों को आगे बढ़ाने का अवसर मिला है। हमारी जिम्मेदारी है कि हम दिल्ली को विकास की राह पर और आगे लेकर जाएं।

रेखा गुप्ता ने अपने छात्र जीवन की एक याद साझा करते हुए बताया कि जब वे दिल्ली विश्वविद्यालय छात्र संघ की अध्यक्ष बनी थीं, तब साहिब सिंह वर्मा ने खुद उन्हें बधाई दी थी। उन्होंने कहा कि आज उनकी बेटी दिल्ली की मुख्यमंत्री है और बेटा (प्रवेश वर्मा) मंत्री हैं। यह उलटा भी हो सकता था लेकिन हमारे संस्कारों में बड़ी बहन को प्राथमिकता दी जाती है। हम मिलकर साहिब सिंह वर्मा के सपनों की दिल्ली बनाने के लिए प्रतिबद्ध हैं।

इस अवसर पर एक प्रार्थना सभा का आयोजन किया गया, जहां प्रवेश वर्मा ने अपने पिता की स्मृति में हवन किया। कार्यक्रम में दिल्ली भाजपा के मंत्री और कई वरिष्ठ नेता मौजूद रहे, जिनमें मनजिंदर सिंह सिरसा, कपिल मिश्रा, मोहन सिंह बिष्ट, रवींद्र इंद्राज सिंह, आशीष सूद, विधायक अजय महावर, मनोज शौकीन और गजेंद्र दराल भी शामिल हुए। सभी ने साहिब सिंह वर्मा के योगदान को याद करते हुए उन्हें श्रद्धांजलि दी।

दिल्ली सरकार में मंत्री प्रवेश वर्मा ने इस अवसर पर अपने पिता के अधूरे सपनों को पूरा करने का संकल्प लिया और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में दिल्ली के विकास को आगे बढ़ाने की प्रतिबद्धता दोहराई। उन्होंने कहा कि मेरे पिता ने अपना पूरा जीवन दिल्ली की सेवा में लगा दिया। अब उनकी अधूरी योजनाओं को पूरा करने की जिम्मेदारी मेरी है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में हम उनके सपनों को साकार करेंगे और दिल्ली को आगे लेकर जाएंगे।

साहिब सिंह वर्मा का राजनीतिक सफर : 15 मार्च 1943 को दिल्ली के मुंडका गांव में एक किसान परिवार में जन्मे साहिब सिंह वर्मा ने अपने राजनीतिक सफर की शुरुआत राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ से की थी। 1977 में जनता पार्टी के टिकट पर वे पहली बार दिल्ली नगर निगम के सदस्य चुने गए और बाद में 1996 में दिल्ली के मुख्यमंत्री बने। उन्होंने दो साल से अधिक समय तक मुख्यमंत्री पद की जिम्मेदारी संभाली।

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