सौर ऊर्जा से आत्मनिर्भर हो रहा सवाई माधोपुर
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ऊर्जा नीति और मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा के नेतृत्व में राजस्थान अक्षय ऊर्जा के क्षेत्र में अग्रणी राज्य बन चुका है। इसी क्रम में सवाई माधोपुर सौर ऊर्जा संयंत्र जिले को राष्ट्रीय ऊर्जा क्रांति में सशक्त रूप से जोड़ रहा है।
कोलाड़ा और रामसिंहपुरा में सौर संयंत्र शुरू
बौंली उपखंड के कोलाड़ा क्षेत्र में 1.82 मेगावाट और रामसिंहपुरा में 1.12 मेगावाट क्षमता के सौर संयंत्र शुरू हो चुके हैं। कुल 2.94 मेगावाट क्षमता के इन संयंत्रों से 250 से अधिक किसानों को दिन में सिंचाई के लिए सौर ऊर्जा आधारित बिजली मिल रही है।
राजस्थान का राष्ट्रीय स्तर पर प्रदर्शन
पीएम-कुसुम योजना के तहत राजस्थान ने अब तक 2,000 मेगावाट से अधिक सौर ऊर्जा संयंत्र स्थापित किए हैं। योजना के कंपोनेंट-ए में राजस्थान देश में पहले और कंपोनेंट-सी में तीसरे स्थान पर पहुंच चुका है।
किसानों को मिल रहा सीधा फायदा
सवाई माधोपुर जिले में कुसुम योजना के अंतर्गत कुल 3 मेगावाट संयंत्र चालू हैं और 3.67 मेगावाट पर कार्य प्रगति पर है। इससे किसानों को दिन में बिजली मिलेगी और डीजल पर निर्भरता घटेगी। साथ ही उत्पादन लागत में कमी और अतिरिक्त आय का अवसर भी बढ़ा है।
नई नीति से तेज होंगे कनेक्शन
राज्य सरकार ने कृषि कनेक्शन नीति-2017 में संशोधन कर कुसुम योजना के संयंत्रों से जुड़े फीडरों को प्राथमिकता देने का निर्णय लिया है। इससे जिले के 1,590 लंबित कृषि कनेक्शन जल्द स्वीकृत होने की उम्मीद है।




