🇮🇳🇺🇸 भारत-अमेरिका व्यापार समझौते पर बनी सहमति, ट्रंप की डेडलाइन से पहले ऐलान संभव
नई दिल्ली, 30 जून (हि.स.) — भारत और अमेरिका के बीच बहुप्रतीक्षित व्यापार समझौते को लेकर आखिरकार सहमति बन गई है। उम्मीद की जा रही है कि इस पर आधिकारिक ऐलान डोनाल्ड ट्रंप की 9 जुलाई की डेडलाइन से पहले हो सकता है। भारत के विशेष सचिव राजेश अग्रवाल के नेतृत्व में एक उच्चस्तरीय प्रतिनिधिमंडल अभी वाशिंगटन में अंतिम दौर की बातचीत कर रहा है।
⏳ टैरिफ विवाद का समाधान निकट
अमेरिका ने पहले भारत पर 26% अतिरिक्त शुल्क लगाने की घोषणा की थी, जिसे 90 दिनों के लिए टाल दिया गया था। भारत चाहता है कि यह शुल्क पूरी तरह समाप्त किया जाए, जबकि अमेरिका भारतीय बाजार में सोयाबीन, मक्का, शराब, ऑटोमोबाइल जैसे उत्पादों पर आयात शुल्क कम करने की मांग कर रहा है।
📈 भारत और अमेरिका के व्यापार संबंध: एक नजर
🛍️ अमेरिका भारत से क्या-क्या खरीदता है?
- आईटी सेवाएं
- फार्मास्युटिकल्स (जैसे जेनेरिक दवाएं)
- टेक्सटाइल और रेडीमेड गारमेंट्स
- रत्न और आभूषण
- ऑटो पार्ट्स
💰 अमेरिका का कितना व्यापार भारत के साथ है?
- वर्ष 2023-24 में भारत-अमेरिका द्विपक्षीय व्यापार का कुल आंकड़ा 191 बिलियन डॉलर से अधिक रहा।
- अमेरिका, भारत का सबसे बड़ा व्यापारिक भागीदार है।
🌍 भारत का सबसे बड़ा व्यापारी कौन सा देश है?
- 2024 के आंकड़ों के अनुसार, अमेरिका भारत का सबसे बड़ा व्यापारिक भागीदार बन गया है, जबकि चीन दूसरे स्थान पर है।
💵 अमेरिका का भारत पर कितना कर्ज है?
- अमेरिका ने भारत को सीधा कर्ज बहुत कम मात्रा में दिया है।
- भारत पर अमेरिका का प्रत्यक्ष Sovereign Debt लगभग शून्य के आसपास है।
- भारत विदेशी बाजार से वाणिज्यिक बॉन्ड और निवेश के जरिए पूंजी जुटाता है, न कि अमेरिका से सीधे कर्ज के रूप में।
📌 संभावित लाभ
- स्टील और ऑटो पार्ट्स के निर्यात में बढ़त
- अमेरिकी निवेश में तेजी
- कृषि और डेयरी क्षेत्र को नए मौके
🔚 निष्कर्ष
भारत और अमेरिका के बीच यह नया व्यापार समझौता न सिर्फ द्विपक्षीय रिश्तों को और मजबूती देगा, बल्कि भारतीय उद्योगों को अमेरिकी बाजार तक आसान पहुंच भी दिलाएगा। ट्रंप की डेडलाइन से पहले यह बड़ी कूटनीतिक सफलता मानी जा रही है।